ABOUT SIDH KUNJIKA

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श्री महिषासुर मर्दिनी स्तोत्रम् (अयिगिरि नंदिनि)

धिजाग्रं धिजाग्रं त्रोटय त्रोटय दीप्तं कुरु कुरु स्वाहा।।

ॐ ग्लौं हुं क्लीं जूं सः ज्वालय ज्वालय ज्वल ज्वल प्रज्वल प्रज्वल

देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति त्रयोदशोऽध्यायः

शृणु देवि प्रवक्ष्यामि कुंजिकास्तोत्रमुत्तमम् ।

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देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति अष्टमोऽध्यायः

ओं अस्य श्री कुञ्जिका स्तोत्रमन्त्रस्य सदाशिव ऋषिः, अनुष्टुप् छन्दः, श्रीत्रिगुणात्मिका get more info देवता, ओं ऐं बीजं, ओं ह्रीं शक्तिः, ओं क्लीं कीलकम्, मम सर्वाभीष्टसिद्ध्यर्थे जपे विनियोगः ।

देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति एकादशोऽध्यायः

यस्तु कुंजिकया देविहीनां सप्तशतीं पठेत्।

श्री महिषासुर मर्दिनी स्तोत्रम् (अयिगिरि नंदिनि)

चाय वाले को बनाया पिता और टेस्ट ड्राइव के बहाने उड़ाई बाइक, आगरा में शातिर चोर का गजब कारनामा बॉलीवुड

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देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति तृतीयोऽध्यायः

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